अलग से कमोडिटी एक्सचेंज का अस्तित्व समापत हो जाएगा। 29 सितंबर को सेबी यूनिफाइड एक्सचेंज लाइसेंस शुरू करने जा रहा है। इसका मतलब ये हुआ कि कमोडिटी बाजार और शेयर बाजार के लिए अलग-अलग एक्सचेंज नहीं होंगे। एक ही प्लैटफॉर्म पर कमोडिटी और शेयर ट्रेडिंग संभव होगा। प्रतिभूति एक्ट के लागू होने के बाद ये संभव हुआ है।
बीएसई और एनएसई जैसे इक्विटी एक्सचेंज भी कमोडिटी में ट्रेडिंग करा सकेंगे। वहीं एमसीएक्स, एनसीडीईएक्स और एनएमसीई जैसे कमोडिटी एक्सचेंज भी शेयर में ट्रेडिंग करा सकेंगे। एफएमसी और सेबी के मर्जर के ठीक 1 साल बाद मार्केट रेगुलेटर ये कदम उठाने जा रहा है।
बीएसई और एनएसई जैसे इक्विटी एक्सचेंज भी कमोडिटी में ट्रेडिंग करा सकेंगे। वहीं एमसीएक्स, एनसीडीईएक्स और एनएमसीई जैसे कमोडिटी एक्सचेंज भी शेयर में ट्रेडिंग करा सकेंगे। एफएमसी और सेबी के मर्जर के ठीक 1 साल बाद मार्केट रेगुलेटर ये कदम उठाने जा रहा है।
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